अपने करियर में, कंचनमाला ने 100 मीटर फ्रीस्टाइल, 100 मीटर बैकस्ट्रोक, 100 मीटर ब्रेस्टस्ट्रोक और 200 मीटर व्यक्तिगत मेडले जैसी विभिन्न स्पर्धाओं में हिस्सा लिया है। उन्होंने 2017 में बर्लिन में आयोजित IDM पारा तैराकी चैंपियनशिप में भी उत्कृष्ट प्रदर्शन किया, जहां उन्होंने 200 मीटर व्यक्तिगत मेडले में रजत पदक जीता।
कंचनमाला की इस यात्रा में उनके परिवार का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। उनके पति, विनोद देखमुख, ने हर कदम पर उनका समर्थन किया है, जिससे उन्हें अपनी चुनौतियों का सामना करने में सहायता मिली।
कंचनमाला पांडे की कहानी इस बात का प्रमाण है कि दृढ़ संकल्प और समर्थन से किसी भी चुनौती को पार किया जा सकता है। उनकी उपलब्धियां न केवल दृष्टिबाधित व्यक्तियों के लिए बल्कि हम सभी के लिए प्रेरणा स्रोत हैं।
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